Saturday, April 27, 2024
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बीमा POLICY और ज्यादा क्लेम दिलाने के नाम पर धोखाधड़ी, देश भर में ONLINE ठगी करने वाला अंतर्राज्यीय गिरोह के 14 आरोपी दिल्ली से गिरफ्तार

रायपुर : देशभर में ऑनलाइन ठगी करने वाला अंतर्राज्यीय गिरोह का पुलिस ने पर्दाफाश किया है. इंश्योरेंस पॉलिसी वेरीफिकेशन और ज्यादा क्लेम दिलाने के नाम से देशभर में ठगी करने वाले अंतर्राज्यीय गिरोह के 14 आरोपी पुलिस ने दिल्ली से गिरफ्तार कर लिया है.

मिली जानकारी के मुताबिक प्रार्थिया निवासी संजय नगर, रायपुर ने थाना टिकरापारा में रिपोर्ट दर्ज कराया कि वह बिजली विभाग से डिप्टी जनरल मैनेजर के पद से सेवानिवृत्त हुई है. राम किशन वर्मा तथा पुनीत जोशी नामक व्यक्तियों ने वर्ष 2016 से लगातार प्रार्थिया के मोबाईल फोन में अलग-अलग मोबाईल नंबरों से फोन कर ठगी की घटना को अंजाम दिये है.

जिसमें प्रार्थिया को उसके पुराना बीमा पॉलिसी के आधार पर नई बीमा पॉलिसी दिलाने एवं सेवानिवृत्त के समय सभी पॉलिसी का पैसा एक साथ प्रार्थिया को मिलने से उसे अच्छा फायदा होने का झांसा दिया गया. उसके बाद राम किशन वर्मा और पुनीत जोशी (काल्पनिक नाम) के नाम से दो व्यक्तियों द्वारा प्रार्थिया की पुरानी बीमा पॉलिसी को आधार बनाकर फर्जी कागजात तैयार किया गया और प्रार्थिया को मोबाईल फोन के जरिए बार-बार फोन कर अपने झांसे में लेकर 12 जनवरी 2017 से अलग-अलग तारीख में और कई किश्तों में प्रार्थिया से करीब 70 लाख रूपये प्रार्थिया को पैसे जमा करने के लिए कुल 5 बैंक खाता उपलब्ध कराकर उससे उक्त रकम जमा कराया गया.

समय बीतने के बाद प्रार्थिया द्वारा बीमा पॉलिसी का भुगतान मांगे जाने पर राम किशन वर्मा और पुनीत जोशी ने अपना मोबाईल नंबर बंद कर दिया. तब प्रार्थिया को अहसास हुआ कि वह बीमा पॉलिसी के नाम पर ठगी का शिकार हो गई है. प्रार्थिया द्वारा उक्त घटना की रिपोर्ट पर आरोपियों के खिलाफ थाना टिकरापारा में अपराध क्रमांक 75/24 धारा 420, 467, 468, 34 भादवि. का जुर्म कायम किया गया.

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घटना को पुलिस अधीक्षक संतोष सिंह द्वारा गंभीरता से लेते हुये अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक पश्चिम जय प्रकाश बढ़ई, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अपराध पीताम्बर सिंह पटेल, नगर पुलिस अधीक्षक पुरानी बस्ती राजेश चैधरी, उप पुलिस अधीक्षक क्राईम दिनेश सिन्हा, थाना प्रभारी टिकरापारा एवं प्रभारी एण्टी क्राईम एण्ड साईबर यूनिट को अज्ञात आरोपियों की पतासाजी कर जल्द से जल्द गिरफ्तार करने के लिए निर्देशित किया गया.

जिस पर वरिष्ठ अधिकारियों के निर्देशन में एण्टी क्राईम एण्ड साईबर यूनिट तथा थाना टिकरापारा पुलिस की संयुक्त टीम द्वारा अज्ञात आरोपियों की पतासाजी करना शुरु किया. टीम के सदस्यों द्वारा घटना के बारे में प्रार्थिया से विस्तृत पूछताछ करते हुए अज्ञात आरोपियों की पतासाजी करना शुरु किया गया.

टीम के सदस्यों द्वारा जिन मोबाईल नंबरों से प्रार्थिया के मोबाईल फोन पर कॉल आया था. उन मोबाईल नंबरों का तकनीकी विश्लेषण किया गया. प्रार्थिया द्वारा जिस-जिस बैंक खातों में रकम जमा किया गया था और उन खातों से रकम अंतरित किया गया. बेनीफिसियरी खातों के बारे में खाता और लेन-देन विवरण संबंधित बैंक से लेकर आरोपियों को चिन्हांकित करने का प्रयास किया गया.

कई दिनों के गहन तकनीकी विश्लेषण और कई बैंक खातों के विश्लेषण से बीमा पॉलिसी के नाम पर आरोपियों द्वारा इस ऑनलाईन ठगी को दिल्ली से अंजाम देना ज्ञात हुआ. जिस पर एक विशेष टीम तैयार कर टीम को आरोपियों की गिरफ्तारी हेतु दिल्ली रवाना किया गया.

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टीम के सदस्यों द्वारा नोएडा पहुंचकर एक हफ्ते से ज्यादा समय तक लगातार कैम्प करते हुए खुद किरायेदार बनकर और नौकरी की तलाश करने के नाम पर आरोपियों और उनके ठिकानों की पतासाजी किया गया. आरोपियों की पड़ताल करने पर यह सुनिश्चित हुआ कि आरोपियों द्वारा बहुत ही सर्तकता से खुद की पहचान छिपाते हुए इस तरह की कई ठगी की वारदात को अंजाम दिया गया है.

तकनीकी विश्लेषण एवं पतासाजी के क्रम में यह भी मालुम हुआ कि आरोपियों द्वारा इस्तेमाल किये गये मोबाईल नंबर फर्जी होने के साथ ही उपयोग में लाये गये बैंक खातों के पते भी दूसरे व्यक्तियों के नाम पर रजिस्टर्ड हैं. आरोपियों द्वारा उन मोबाईल नंबरों और खातों का उपयोग सिर्फ और सिर्फ ठगी की वारदात को कारित करने के लिए किया गया था.

टीम ने एक हफ्ते से भी ज्यादा वक़्त तक दिल्ली में कैम्प कर आरोपियों के संभावित लोकेशन पर बारिकी से रेकी करने पर आरोपियों द्वारा नोएडा में कॉल सेंटर संचालित करने के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी मिली. जानकारी को पुख्ता कर टीम द्वारा बी-41, सेक्टर 63, नोएडा स्थित एम डी वेल्थ क्रेटर कॉल सेंटर में रेड कार्यवाही कर फर्जी कॉल सेंटर संचालित कर वृहद पैमाने पर ठगी करने वाले 14 आरोपियों को पकड़ा गया.

इसके अतिरिक्त कॉल सेंटर में कार्यरत व मौके में मौजूद 25 महिला समेत कुल 41 व्यक्तियों को नोटिस दिया और ठगी के वरदातों में उनकी भूमिका की जांच की जा रही है. पूछताछ में आरोपियों द्वारा उक्त ठगी के वारदात को अंजाम देना कबुल करने के साथ ही खुद को इंश्योरेंस वेरीफिकेशन डिपार्टमेंट से होना बताकर देशभर के अलग-अलग स्थानों से करोड़ो रूपये की ठगी कर धोखाधड़ी करना कबुल किया है.

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इस मामले की कार्यवाही के दौरान आरोपियों को गिरफ्तार कर उनके कब्जे से 57 नग की-पेड मोबाईल फोन, 1 वायरलेस फोन, 1 लैपटॉप, कई बीमा कंपनियों से संबंधित 1000 से ज्यादा पन्नों का दस्तावेज और 50 से ज्यादा फर्जी सिम कार्ड जप्त किया गया है.

आरोपियों को दिल्ली से गिरफ्तार कर ट्रांजिट रिमाण्ड पर रायपुर लाकर इस जुर्म के अलावा देश के अन्य जगहों में अंजाम दिये गये ठगी के घटना के बारे में विस्तृत पूछताछ की जा रही है. प्रारंभिक तौर पर मालूम हुआ है कि आरोपियों द्वारा बीमा पॉलिसी के नाम पर धोखाधड़ी सिंडीकेट और गिरोह चलाकर छ.ग. राज्य के रायपुर, दुर्ग, धमतरी के साथ ही साथ असम, हरियाणा के अलावा अन्य राज्यों में भी इस तरह की ठगी की घटना को अंजाम दिये हैं.

मनजेश कुमार चौहान को वर्ष 2019 में जिला दुर्ग से 65 लाख रूपये के ठगी के मामले में गिरफ्तार किया जा चुका है. रवि चैहान एवं ऋषभ चैहान पूर्व में दिल्ली से ठगी के मामलों में गिरफ्तार हो चुके है. आरोपी 6 माह में स्थान परिवर्तन कर अपना कॉल सेंटर को परिवर्तित कर देते है.

जांच में वर्तमान में आरोपियों द्वारा असम निवासी ललित शर्मा से 25 लाख रूपये की ठगी होने तथा रोहतक, हरियाणा के प्रार्थी से लगभग 40 लाख रूपये की राशि की ठगी किये जाने की जानकारी प्राप्त होने के साथ ही देशभर के अलग – अलग राज्यों में वृहद तौर पर ठगी की वारदात को अंजाम देना ज्ञात हुआ है. जिसके संबंध में संबंधित राज्यों की पुलिस से समन्वय स्थापित कर जानकारी साझा किया जा रहा है.

आरोपियों द्वारा जिला धमतरी के एक व्यक्ति से ठगी करने की जानकारी प्राप्त हुई है, जिस संबंध में धमतरी पुलिस को भी जानकारी उपलब्ध करायी जा रहीं है. आरोपियों के अब तक प्राप्त बैंक खातों का अवलोकन पर इन खातों में करोडों़ रूपयों का ट्रांजेक्शन होना पाया गया है, जिसकी आगे जांच की जा रहीं है तथा गिरफ्तार आरोपियों के बैंक खातों के ट्रांजेक्शन विवरण की जानकारी बाबत एवं उन खातों में उपलब्ध राशि को होल्ड़ कराने के संबंध में संबंधित बैंकों को पत्राचार किया गया है.

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